संतान प्राप्ति तथा मनचाहा वर प्राप्ति के लिए ‘कामदा एकादशी’ पर करें ये उपाय
एकादशी व्रत को सभी व्रतों में श्रेष्ठ माना जाता है. चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी को कामदा एकादशी कहा जाता हैं.
कामदा एकादशी का व्रत भगवान विष्णु जी को समर्पित है. इस दिन भगवान विष्णु की विधि पूर्वक पूजा करने से उनका विशेष आशीर्वाद प्राप्त होता है. विष्णु भक्त की सभी प्रकार की मनोकामनाओं को पूर्ण करते हैं. कुंवारी कन्याओं के लिए यह व्रत बहुत प्रभावशाली माना गया है.
विवाह में आने वाली अड़चन और बाधा दूर होती है
कामदा एकादशी का व्रत विवाह में आने वाली परेशानियों को दूर करने वाला माना गया है. जिस कन्या की शादियों में अड़चने आ रही है. वे कामदा एकादशी के दिन भगवान विष्णु को 2 साबुत हल्दी की गांठें अर्पित करें, भगवान को ध्यान करते हुये हाथ जोड़कर अपने मन में अपनी परेशानियों को बोलकर प्रार्थना करें. ऐसा करने से कुवांरी कन्याओं के मनचाहे वर की कामना पूर्ण होती है.
कामदा एकादशी पर इस मंत्र का जाप करें
कामदा एकादशी पर इस मंत्र का जाप करना लाभकारी माना गया है. एकादशी व्रत के दिन इस मंत्र का जाप करें-
ॐ नमो भगवते वासुदेवाय मंत्र’
संतान की कामना के लिए क्या करें?
पति पत्नी संयुक्त रूप से भगवान कृष्ण को पीला फल और पीले फूल अर्पित करें. एक साथ संतान गोपाल मंत्र का कम से कम ११ माला जाप करें. संतान प्राप्ति की प्रार्थना करें. फल को पति पत्नी प्रसाद के रूप में ग्रहण करें.
आर्थिक लाभ के लिए क्या करें?
भगवान कृष्ण को पीले फूलों की माला अर्पित करें. इसके बाद “ॐ ह्रीं श्रीं लक्ष्मीवासुदेवाय नमः” का कम से कम 11 माला जाप करें. आर्थिक लाभ की प्रार्थना करें. ये प्रयोग वर्ष में एक बार जरूर करें.
पाप नाश के लिए क्या उपाय करें?
भगवान कृष्ण को चन्दन की माला अर्पित करें. इसके बाद “क्लीं कृष्ण क्लीं” का 11 माला जाप करें. अर्पित की हुयी चन्दन की माला को अपने पास रखें. पापों का प्रायश्चित होगा, पाप वृत्ति से छुटकारा मिलेगा. आपके नाम यश में वृद्धि होगी.
पितरों की आत्मा की शांति के लिए क्या करें
एकादशी की शाम को या रात्रि को भगवान कृष्ण के समक्ष बैठें. उनको पीले फूल और चन्दन अर्पित करें. इसके बाद गीता के 11वें अध्याय का पाठ करें. पितरों की आत्मा की शांति के लिये प्रार्थना करें.
कामदा एकादशी पर दान का महत्व
इस व्रत में दान पुण्य का भी विशेष महत्व बताया गया है. यदि संभव हो तो व्रतधारी को एकादशी के दिन गंगा स्नान करना चाहिए. यदि विवाह संबंधी बाधाओं का सामना कर रहें हैं तो इस बाधा को दूर करने के लिए एकादशी के दिन केसर, केला या हल्दी का दान करना चाहिए. हिंदू धर्म ग्रंथों में कहा गया है कि एकादशी का उपवास रखने से धन, मान-सम्मान और संतान सुख के साथ मनोवांछित फल की प्राप्ति होती है.
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